धान का कटोरा कहे जाने वाले राज्य छत्तीसगढ मे भारत सरकार
के खाद्य प्रसंस्करण मंत्रालय द्वारा चावल , गेहुं तथा दाल मिलों की स्थापना, विस्तार एवं
आधुनिकीकरण हेतु वित्तीय सहायता एवं अनुदान पर लगी रोक हटा लेने से खाद्य प्रसंस्करण उद्योग
मे नयी उम्मीद जागी है ।
धान का कटोरा कहे जाने वाले राज्य छत्तीसगढ मे भारत सरकार के खाद्य प्रसंस्करण मंत्रालय द्वारा चावल , गेहुं तथा दाल मिलों की स्थापना, विस्तार एवं आधुनिकीकरण हेतु वित्तीय सहायता एवं अनुदान पर लगी रोक हटा लेने से खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मे नयी उम्मीद जागी है ।
वर्तमान मे छत्तीसगढ मे लगभग 1400 राइस मिलें तथा 150 दाल मिलें संचालित हैं औऱ भारत सरकार द्वारा वित्तीय सहायता पर लगी रोक हटाए जाने से प्रदेश के खाद्य प्रसंस्करण को काफी लाभ प्राप्त होगा और
किसानों को इसका सीधा लाभ मिलने के साथ, नियार्त मे भी तेजी आयेगी।
छ्त्तीसगढ के उद्योग राज्यमंत्री राजेश मूणत ने इस निणर्य का स्वागत करते हुये,प्रदेश के उद्यमियों से इसका लाभ लेते हुए अधिक से अधिक संख्या में राइस मिल, फ्लोर मिल एवं दाल मिलें लगाने की अपील की है।
संचालक उद्योग एस.के. बेहार ने बताया कि इस आदेश में ग्रेन मिलिंग से संबंधित उद्योगों को वित्तीय अनुदान पर लगी रोक को हटा ली गई है, और अब राइस मिल, फ्लोर मिल तथा दाल मिलों की स्थापना, विस्तार और आधुनिकीकरण हेतु वित्तीय सहायता तथा अनुदान देने का निर्णय लिया गया है।